मंगलवार, 10 मई 2022

दोहे रिश्ते पर

 --अशर्फी लाल मिश्र


अशर्फी लाल मिश्र 






रिश्ते

गरीबी  में अपने भी, रिश्ते  जाते   टूट ।

अमीरी देख ढूंढ़ कर, रिश्ते बनते अटूट।।


-अशर्फी लाल मिश्र, अकबरपुर, कानपुर।

5 टिप्‍पणियां:

व्यास पूर्णिमा (गुरु पूर्णिमा)

 -- लेखक एवं रचनाकार : अशर्फी लाल मिश्र, अकबरपुर, कानपुर।© अशर्फी लाल मिश्र  पूर्णिमा तिथि थी अषाढ़ मास की, जब महर्षि व्यास ने  जन्म लिया। प...