© कवि : अशर्फी लाल मिश्र ,अकबरपुर ,कानपुर
अशर्फी लाल मिश्र |
मित्र
परिछाईं संकट काल, धीरज देता होय।
स्वार्थ रहित हो भावना ,मीत जानिये सोय।।
सुख
वशीभूत न लालच के ,निन्दा से हो दूर।
ताहि जीवन सदा सुखी ,खुशियों से भरपूर।।
-- लेखक एवं रचनाकार : अशर्फी लाल मिश्र, अकबरपुर, कानपुर।© अशर्फी लाल मिश्र पूर्णिमा तिथि थी अषाढ़ मास की, जब महर्षि व्यास ने जन्म लिया। प...
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