शुक्रवार, 3 अक्टूबर 2025

नीति के दोहे मुक्तक

 लेखक : अशर्फी लाल मिश्र, अकबरपुर, कानपुर।

अशर्फी लाल मिश्र (1943------)

मनहि  हारे  हार मीत, मन के जीते जीत।

रक्त चाप सदा हि बढ़े, मन के हारे मीत।।

लेखक एवं रचनाकार : अशर्फी लाल मिश्र, अकबरपुर, कानपुर।©

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